बकवास और विनाश का प्रत्यक्ष उदाहरण हैं विधायक सत्येंद्रनाथ – धीरज
बकवास और विनाश का प्रत्यक्ष उदाहरण हैं विधायक सत्येंद्रनाथ – धीरज
झारखंड मुक्ति मोर्चा के प्रवक्ता धीरज कुमार दुबे ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर गढ़वा विधायक सत्येंद्र नाथ तिवारी को बकवास और विनाश का प्रत्यक्ष उदाहरण बताया है। श्री दुबे ने कहा कि विधानसभा के बजट सत्र में जनहित के मुद्दा उठाने की बजाय गढ़वा विधायक सत्येंद्र नाथ तिवारी बकवास करने में मशगूल है। उनके मुद्दा विहीन वक्तव्य से ऐसा प्रतीत हो रहा है कि वर्तमान में भी वह खुद को एक विधायक नहीं बल्कि हारे हुए प्रत्याशी के रूप में प्रदर्शित कर रहे हैं। उनके वक्तव्य से ऐसा लग रहा है कि वह मानसिक दिवालियापन के शिकार हो गए हैं। झारखंड मुक्ति मोर्चा गढ़वा के पदाधिकारी विधानसभा अध्यक्ष रविंद्र नाथ महतो से मुलाकात कर विधायक सत्येंद्र तिवारी को पागलखाने में भर्ती कराने का अनुरोध करेगी। उनके खर्च का सारा इलाज जहां झामुमो कार्यकर्ता वहन करने हेतु तैयार है।
गढ़वा विधायक सत्येंद्र नाथ तिवारी “चोर मचाए शोर” वाली कहावत को भी चरितार्थ करने में लगे हुए हैं। खुद अलकतरा चोरी के आरोप में 2 वर्ष होटवार जेल काटने तथा 50 करोड़ के विधायक कोटा की चोरी करने वाला व्यक्ति विधानसभा सत्र में पूर्व मंत्री मिथिलेश कुमार ठाकुर पर उंगली उठाने का प्रयास कर रहा है। गढ़वा की जनता ऐसी ओछी करतूत पर हंस रही है। गढ़वा विधानसभा अंतर्गत होने वाली सभी घटना को पूर्व मंत्री मिथिलेश कुमार ठाकुर से जोड़ देना महज उनका राजनीतिक षड्यंत्र है। वर्तमान के अपराधिक घटना तथा कुछ दिन पूर्व एक मुखिया के द्वारा आत्महत्या करने की घटना को भी पूर्व मंत्री मिथिलेश कुमार ठाकुर से जोड़ा जाना गढ़वा विधायक सत्येंद्र नाथ तिवारी के विचित्र मानसिकता को दर्शाता है। राजनीतिक लाभ के लिए निचले स्तर तक गिर जाना विधायक सत्येंद्र नाथ तिवारी का चरित्र है और गढ़वा की जनता यह भली-भांति जानती है। उन्हें इस बात का भ्रम है कि जनता उनके हर झूठ को सच मान लेगी। इसी झूठ-फरेब के चक्कर में आकर जनता खुद को ठगी हुई महसूस कर रही है।
जनता को उनके हाल पर छोड़कर गढ़वा विधायक मसखरी करने में लगे हुए हैं। विकास कार्य तो छोड़िए जनता के सुख-दुख में शामिल होना भी वह अपनी जिम्मेदारी नहीं समझते। जनता तो दूर भाजपा के कार्यकर्ता भी खुद को ठगा हुआ महसूस कर रहे है क्योंकि किसी कार्यकर्ता का फोन विधायक सत्येंद्र नाथ तिवारी नहीं उठाते। विधायकी का वेतन और मिलने वाले खर्च पाकर विधायक सत्येंद्र नाथ तिवारी रांची सहित अन्यत्र जगहों पर जाकर मौज फरमा रहे हैं। उनका बस एक ही मकसद बच गया है की गढ़वा विधानसभा में चल रहे विकास कार्यों में संवेदकों से कैसे अपना कमीशन वसूला जाए।
गढ़वा विधायक सत्येंद्र नाथ तिवारी को खुला चैलेंज है कि उनके द्वारा लगाए जा रहे आरोप को या तो तथ्य के साथ प्रमाणित करें अन्यथा माफी मांग लें। क्योकि इसी तरह के तथ्यहीन बड़बोलेपन के कारण गढ़वा व्यवहार न्यायालय में उनपर मानहानि का मुकदमा चल रहा है। जिसका जवाब देने में उनका हलक सूख रहा है। पुनः उनके भ्रामक दुष्प्रचार के खिलाफ न्यायालय के शरण में जाने से झारखंड मुक्ति मोर्चा परहेज नहीं करेगी।
