उरिया नदी से अवैध बालू का उठाव धड़ल्ले से जारी जिला प्रशासन मौन

मेराल थाना क्षेत्र अंतर्गत उरिया नदी से अवैध बालू का उठाव धड़ल्ले से किया जा रहा है जिस पर शासन प्रशासन के लोग चुप्पी साधे हुए हैं। अवैध बालू के उत्खनन को लेकर ग्रामीणों में काफी आक्रोश है। बालू माफियाओं द्वारा थाना क्षेत्र के कई जगहों पर बालू का बड़े पैमाने पर अवैध भंडारण भी किया जा रहा है।जिसके कारण गांव के लोगों को आवास शौचालय सहित अन्य कार्यों के लिए ऊंचे दामों पर बालू खरीदना पड़ रहा है। बालू माफियाओं द्वारा उरिया नदी में गेरुआ के बिछिया दामर घाट ऊरिया टोला घाट रेजो के दुनुखाड़ घाट हासनदाग के असमसान घाट उरिया नदी पुल सतबहिनी घाट करकोमा के चतरी टोला घाट पिपरडोलिया घाट आदि घाटों से प्रतिदिन नदी से अवैध उत्खनन कर बालू का उठाव बड़े पैमाने पर किया जा रहा है। बालू उठाव कर प्रखंड क्षेत्र ही नहीं दूसरे प्रखंडों में भी यहां का बालू ऊंचे दामों पर बेचा जा रहा है। बालू उठाव के कारण नदी के अस्तित्व पर भी संकट मंडरा रहा है। बालू के अवैध उत्खनन के चलते नदी में 5से 7 फीट तक गहरा कर दिया गया है जिसके कारण आने वाले समय में नदी के आसपास के गांवो में जल संकट गहराने की संभावना है। बालू माफियाओं द्वारा ऊरिया नदी के सतबहिनी घाट पर 1 साल पूर्व में बनाए गए पुल के सटे बालू का उत्खनन किया जा रहा है जिसके चलते पुल पर भी संकट मंडरा रहा है पूर्व के पुल बालू उठाव के कारण ही ध्वस्त हुआ था जिसके कारण आवागमन सालो बाधित हो गया था। समय रहते अवैध बालू उत्खनन पर लगाम नहीं लगाया गया तो दानरों नदी के तरह ही उरिया नदी भी बालू विहीन हो जाएगा। सरकार द्वारा ग्रामीण क्षेत्रों में चलाए जा रहे महत्वाकांक्षी योजना पीएम आवास अबुआ आवास शौचालय के निर्माण में लोगों को दूसरे जगह से ऊंचे दामों पर बालू खरीदना पड़ेगा। जिसके कारण योजना समय पर पूर्ण नहीं होगा।