एसडीएम ने अन्नराज डैम क्षेत्र का किया निरीक्षण
नववर्ष, क्रिसमस एवं शीतकालीन अवकाश में प्रत्याशित भीड़ को लेकर व्यवस्थाओं का लिया जायजा
बोटिंग व स्टीमर सेवा बहाल, तैराकी पर प्रतिबंध रहेगा जारी
गढ़वा। गुरुवार को सदर अनुमंडल पदाधिकारी संजय कुमार ने अन्नराज डैम प्रक्षेत्र का निरीक्षण किया। आगामी नववर्ष, क्रिसमस तथा शीतकालीन अवकाश के दौरान बड़ी संख्या में पिकनिक मनाने व भ्रमण के उद्देश्य से आने वाले पर्यटकों की प्रत्याशित भीड़ को ध्यान में रखते हुए उन्होंने डैम क्षेत्र में उपलब्ध मूलभूत सुविधाओं, साफ-सफाई, सुरक्षा व्यवस्थाओं, पार्किंग एवं यातायात व्यवस्था का जायजा लिया।
बोटिंग और स्टीमर सेवा पर लगे प्रतिबंध को हटाया गया
एसडीएम ने बताया कि इस डैम में हुई कुछ दुर्घटनाओं के मद्देनजर एहतियातन बीते 11 अगस्त को सुरक्षा की दृष्टिकोण से अन्नराज डैम क्षेत्र को तैराकी निषेध क्षेत्र (नो-स्विमिंग ज़ोन) घोषित किया गया था। इस आदेश के तहत डैम में तैरने, कूदने, स्नान करने एवं अन्य जल-क्रीड़ा गतिविधियों पर पूर्ण प्रतिबंध लगाया गया था। साथ ही किसी भी प्रकार की दुर्घटना की आशंका को देखते हुए बोटिंग एवं स्टीमर सेवा पर भी रोक लगाई गई थी।
हालांकि, अन्नराज डैम क्षेत्र पर्यटन की दृष्टि से स्थानीय एवं आसपास के जिलों के लिए एक प्रमुख आकर्षण का केंद्र है, जहाँ नववर्ष, क्रिसमस एवं पूरे शीतकाल के दौरान बड़ी संख्या में पर्यटकों का आगमन होता है। ऐसे में जन-आकांक्षाओं, स्थानीय आजीविका तथा पर्यटन गतिविधियों को ध्यान में रखते हुए एसडीएम द्वारा पूर्व आदेश में आंशिक संशोधन किया गया है।
संशोधित आदेश के तहत अब बोटिंग एवं स्टीमर सेवा को सशर्त अनुमति प्रदान की गई है, ताकि पर्यटक नियंत्रित एवं सुरक्षित ढंग से जल पर्यटन का आनंद ले सकें। वहीं, किसी भी प्रकार की अप्रिय घटना से बचाव हेतु डैम में तैरने, कूदने एवं स्नान करने पर प्रतिबंध पूर्ववत जारी रहेगा।
एसडीएम ने स्पष्ट निर्देश दिया कि बोटिंग एवं स्टीमर संचालन के दौरान सभी सुरक्षा मानकों का कड़ाई से पालन सुनिश्चित किया जाए। लाइफ जैकेट की उपलब्धता, क्षमता से अधिक सवारियों को न बैठाने, प्रशिक्षित कर्मियों की तैनाती तथा सतत निगरानी की व्यवस्था अनिवार्य रूप से की जाए।
साफ सफाई दुरुस्त करने का आदेश
निरीक्षण के दौरान एसडीएम ने जिला मत्स्य पदाधिकारी, जिला पर्यटन पदाधिकारी तथा संबंधित विभागीय कार्यपालक अभियंता को डैम क्षेत्र एवं आसपास साफ-सफाई, कचरा प्रबंधन, संकेतक लेखन एवं पर्यटकों की सुविधा से जुड़ी अन्य व्यवस्थाएँ सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। साथ ही आपात स्थिति से निपटने हेतु गोताखोर की उपलब्धता एवं अन्य आवश्यक तैयारियाँ रखने पर भी जोर दिया गया।
इस अवसर पर स्थानीय मुखिया राम लगन राम, जिला मत्स्य कार्यालय के चन्द्रेश्वर साहनी, पर्यटन एवं मत्स्यजीवी समितियों के सदस्य तथा बड़ी संख्या में स्थानीय नागरिक उपस्थित रहे।

